कूनो नेशनल पार्क से निकला चीता, सडकों पर लगाई दौड, सीसीटीवी कैमरे मे हुआ कैद

कूनो नेशनल पार्क से निकला चीता सडकों पर लगाई दौड

 देर रात सड़क पर घूमता नजर आया। स्टेडियम के अंदर उसने एक कुत्ते का शिकार भी किया है। 

हलधर किसान श्योपुर, मध्यप्रदेश में कूनो नेशनल पार्क के खुले जंगल से निकलकर 90 किलोमीटर दूर श्योपुर के नजदीक पहुंचे चीते ने चार दिनों बाद शहर के रास्ते वापस जंगल की ओर रवानगी ले ली है. खास बात यह है कि चीता जंगल लौटते समय आधी रात को शहर की सड़कों पर दौड़ लगाता कैमरे में कैद हुआ है. अब चीता वापस जंगल की ओर रुख कर गया है.

स्टेडियम के पास देखा गया

चीता स्टेडियम, कलेक्ट्रेट और ईको सेंटर होते हुए बावंदा नाले तक पहुंचा है। रात एक बजे का शिवपुरी रोड पर स्थित जैन रेस्टोरेंट व गोयल फोटो कॉपी की दुकान पर लगे सीसीटीवी कैमरे में उसके दौड़ते हुए फुटेज आए हैं। यह चीता अमराल नदी किनारे होते हुए स्टेडियम में घुसा था।

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एक मादा डॉग का शिकार किया

मंगलवार-बुधवार की दरमियानी रात वह शहर के वीर सावरकर स्टेडियम के पास देखा गया। यहां चीते ने एक मादा डॉग का शिकार किया। कुछ लोगों का कहना है कि चीता डॉग का शिकार कर उसे खींचकर ले गया। वीडियो सामने आने के बाद स्टेडियम में रहने वाले कर्मचारी दहशत में हैं, हालाकि कूनो प्रबंधन व चीता मित्रों ने पहले भी लोगों को समझा रखा है कि चीते किसी पर हमला नहीं करते, इसलिए डरें नहीं केवल सचेत रहें।

चीता के पीछे ट्रेकिंग टीम की गाड़ी लगी रही

पिछले शनिवार को कूनो की हद छोड़ 90 किलोमोटर की दूरी तय कर चीता अग्नि श्योपुर शहर से सटे ढेंगदा गांव और शहरी सीमा में पॉलिटेक्निक कॉलेज के पास अमराल नदी के किनारे लगी क्रेशर के कुछ दूर आया और बीते 4 दिन तक आसपास ही चहल कदमी करता रहा. चीते की निगरानी में ट्रेकिंग टीमें 24 घंटे लगी थी.

इसी बीच, मंगलवार-बुधवार की दरम्यानी रात चीता शहर के वीर सावरकर स्टेडियम के पास देखा गया. फिर आधी रात को ही श्योपुर शिवपुरी हाइवे पर निकल पड़ा.

और चीता स्टेडियम, कलेक्ट्रेट और ईको सैंटर होते हुए बावंदा नाले तक सड़क पर दौड़ लगाता कैमरे के कैद हुआ. चीता के पीछे ट्रेकिंग टीम की गाड़ी लगी रही.

अग्नि और वायु नाम के दो चीते

कूनो नेशनल पार्क के खुले जंगल में अग्नि और वायु नाम के दो चीतों को छोड़ा गया था. यह दोनों चीते साउथ अफ्रीका से कूनो लाए गए थे जिन्हें पिछले 4 दिसम्बर को खुले जंगल में छोड़ा गया था. दोनों चीते रिश्ते में सगे भाई हैं, जो हमेशा एक साथ रहते हैं और एक साथ शिकार करते हैं और मिल बांटकर उस शिकार को खाकर अपना पेट भरते हैं. पहली दफा यह दोनों अलग हुए थे. दोनों अलग-अलग दिशा में कूनो के रिज़र्व जोन से बाहर निकल गए थे. अब उम्मीद जताई जा रही है कि दोनों एक दूसरे को तलाशते हुए कूनो वापस पहुंच जाएंगे.

डीएफओ

कूनो नेशनल पार्क के डीएफओ आर थिरूकुराल ने कहा है कि चीता कहां है? उसकी लोकेशन के बारे में हम कोई जानकारी नहीं दे सकते. उसकी 24 घंटे उसकी निगरानी के लिए हमारी टीमें तैनात हैं. चीता जहां भी रहता है, वह अपने हिसाब से अपने भोजन का इंतजाम कर लेता है.

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